रुक जाओ ना जी, ऐसी क्या जल्दी
चूभ जायेगी पहलू में बिरहा की सूई
शाम ढली नहीं और चले तुम उठ के सनम
यूं न चलो इठलाके तुम्हें मेरी कसम
देखो सनम, यूं न ढाओ सितम
नाजूक हूं मै तो जैसी छुई मुई
हाय! कहने की है बात पडी मुझे कहने तो दो
प्यार भरे मेरे दिल में है क्या मुझे कहने तो दो
ठहरो पिया मुझे होश आ ले जरा
जब से तुम आये मैं हूं खोयी खोयी
चाहत का बदला है ये क्या जरा सोचो सनम
मरते है हम नहीं तुम को पता जरा सोचो सनम
ठहरो जरा, दिल न तोडो मेरा
ठुकराने वाले क्या सोचेगा कोई