शीर्षक | प्रकार | लेखक | अद्यतन | प्रतिसाद |
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कविता सुचते... | कविता | अजब | ९ | |
वाढदिवसाच्या हार्दिक शुभेच्छा! | गद्य साहित्य | संत सौरभ | १ | |
कॅप्सिकम चिकन (ढबू कोंबडी) | पाककृती | चौकस | १ | |
दीक्षितांचा बंब | गद्य साहित्य | प्रशांत | ४ | |
वाळू | कविता | मुग्धा रिसबूड | ५ | |
चित्रकार | गद्य साहित्य | चौकस | १२ | |
श्रावण | कविता | अमित शेवदे | ||
वादळी पाऊस | कविता | अमित शेवदे | ||
मन मोरपिस... | कविता | क क कवितेचा | ३ | |
अगं राधे... | कविता | क क कवितेचा | २ | |
नाळ | कविता | मकरंद गोडबोले | २ | |
माकडे | कविता | मकरंद गोडबोले | ||
गझल | कविता | मिलिंद फणसे | १० | |
सखि थंड झाला बारक्या | कविता | विनम्र | ५ | |
डोळ्यात सांजवेळी... | कविता | विनम्र | १ |
शीर्षक | प्रतिसादक | लेखन | अद्यतन |
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माहितीपर लेख आहे ! | संजय क्षीरसागर | आचार्य बोधीधर्म आणि झेन पंथ | |
तुमचे अध्यात्माच्या व्याख्येपासूनच गोंधळ आहेत ! | संजय क्षीरसागर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
बर! | सोकाजीत्रिलोकेकर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
मन किंवा विचार हा विक्षेप आहे ! | संजय क्षीरसागर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
बुद्धावस्थेची तुम्ही फक्त कल्पना करतायं! | संजय क्षीरसागर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
विक्षेप | सोकाजीत्रिलोकेकर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
जाणीव | सोकाजीत्रिलोकेकर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
पहिल्या मुद्याच्या अनुषंगानं आणखी थोडं | संजय क्षीरसागर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
मनाचं निस्सरण म्हणजे | संजय क्षीरसागर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! | |
अध्यात्म... | सोकाजीत्रिलोकेकर | अष्टावक्र संहिता : ७ : मला एकाग्रता साधावी लागत नाही कारण मला विक्षेप नाही ! |